एक दरख्त, ये ब्लोग है मेरी गज़लो का जिसके जरीये मैं आप तक अपनी गज़ले पहुचाना चाहता हुँ, उम्मीद करता हुँ, आप सभी इसे पसंद करेगें................
दिल की पेशी ................खुबसूरत शेर मुबारक हो
dik kee pashi mein kabhi aaye nahimere khat bas saman se ban ke rahe....bahut hi badiya...
सुंदर गजल। वाह।
bhut acche sir ji...
va sir kya bahot achi hai
बहुत खूब
दिल की पेशी ................खुबसूरत शेर मुबारक हो
ReplyDeletedik kee pashi mein kabhi aaye nahi
ReplyDeletemere khat bas saman se ban ke rahe
....bahut hi badiya...
सुंदर गजल। वाह।
ReplyDeletebhut acche sir ji...
ReplyDeleteva sir kya bahot achi hai
ReplyDeleteबहुत खूब
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